रक्षक वो हमारे था
आज किसी माँ की गोद खाली हो गयी
किसी की सिन्दूर भरी मांग सुनी हो गयी
एक बच्ची ने एक पिता का कन्धा खो दिया
सच कहूँ तो देश ने एक सितारा खो दिया
एक पिता का सिर्फ पुत्र नही
बल्कि उसका अभिमान खो गया
एक बेटी का बाप नही
बल्कि उसका आसमान खो गया
एक बहन का भाई नही
बल्कि उसका संसार खो गया
सच कहूं तो देश ने सिपाही नही
बल्कि एक सितारा खो गया
वो सिर्फ एक लाल नही
माँ की आंख का तारा था
वो सिर्फ एक पुत्र नही
बल्कि पिता का सहारा था
वो सिर्फ एक सैनिक नहीं
बल्कि रक्षक वो हमारा था
वो सिर्फ एक सैनिक नहीं
बल्कि रक्षक वो हमारा था
Harshit saxena{vasu}
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